New Faridabad taking big strides
फरीदाबादः कनेक्टिविटी ने बढ़ाई रफ्तार
संतोष कुमार | सौजन्य: इंडिया टुडे | फरीदाबाद, 20 जनवरी 2012 | अपडेटेड: 13:35 IST
फरीदाबाद ऐसा शहर है जो राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) के सबसे नजदीक होकर भी नजरअंदाज रहा. लेकिन दिल्ली सीमा पर बदरपुर फ्लाईओवर, फरीदाबाद-गुड़गांव रोड से मिली कनेक्टिविटी और नोएडा के भूमि अधिग्रहण विवादों ने इस शहर की तरफ लोगों का ध्यान तेजी से खींचा है.
इस आकर्षण ने शहर के भीतर ही एक नया शहर बसा दिया है, जिसे गैर-आधिकारिक तौर पर ग्रेटर फरीदाबाद के नाम से पुकारा जाने लगा है.
टाउनशिप बना रही बीपीटीपी के वरिष्ठ उपाध्यक्ष (परियोजना) दिनेश चंद्र हारण और वार्ड 22 से पार्षद अजय बैंसला एक सुर में कहते हैं, ''नोएडा-गुड़गांव के बाद हमारी (फरीदाबाद की) बारी है.''
पिछले साल भर में ग्रेटर फरीदाबाद की तस्वीर के साथ आसपास के किसानों की तकदीर भी बदल गई है. उनकी खेती की जमीन पर गगनचुंबी इमारतों से लेकर डुप्लेक्स, स्कूल, कॉलेज और कई व्यावसायिक ठिकाने बनकर तैयार हैं और उनके निजी घर भी आलीशान महल की शक्ल ले चुके हैं.
फरीदाबाद नगर निगम के चीफ इंजीनियर एन.के. कटारा कहते हैं, ''शहर तरक्की कर रहा है, लेकिन जनसंख्या के हिसाब से जरूरतें पूरी करने में थोड़ा वक्त लगता है.''
पिछले साल भर में जवाहरलाल नेहरू शहरी नवीनीकरण मिशन (जेएनएनयूआरएम) के तहत सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट, सोलर प्लांट जैसे कई अहम काम हुए हैं, जिससे विकास को गति मिल रही है.
शिक्षा के क्षेत्र में भी यह शहर हब बनने की ओर अग्रसर है. सेंट्रल ग्रीन फरीदाबाद में मेडिकल कॉलेज की इमारत तैयार हो चुकी है. सेक्टर 21-सी में फाइव स्टार होटल और सेक्टर 31 में बिजनेस पार्क तैयार है. सबसे अहम 1,800 एकड़ में नहर पार इंडस्ट्रियल मॉडल टाउनशिप (आइएमटी) स्थापित करने का काम जारी है.
रिहायशी ठिकाने के तौर पर फरीदाबाद के प्रति लोगों की भी सोच बदली है और इसका सबूत है कि ग्रेटर फरीदाबाद में बीपीटीपी समेत एबीएस, एसआरएस जैसे करीब आधा दर्जन बिल्डरों के फ्लैट करीब-करीब बनकर तैयार हैं. 2,000 एकड़ जमीन पर करीब 3,000 मकान बना रही बीपीटीपी के अधिकारी हारण दावा करते हैं, ''मार्च के बाद लोग रहने के लिए आने वाले हैं.''
इस आकर्षण का मुख्य कारण कनेक्टिविटी का बढ़ना है. आगरा-गुड़गांव कनाल पर तीन नए पुल बनाने की योजना पर काम चल रहा है, ताकि नए और पुराने शहर के बीच की आवाजाही आसान हो सके.
18 लाख की आबादी वाले इस शहर में पिछले साल भर के भीतर मॉल की संख्या तिगुनी हो गई है और छोटे-बड़े मिलाकर कुल 22 मॉल शहर की शान बढ़ा रहे हैं. लेकिन सामान की क्वालिटी का फर्क खरीदारों को दिल्ली की ओर ही खींचता है. दिल्ली पहुंचना पिछले साल के मुकाबले बेहद सुगम हो गया है क्योंकि बदरपुर बॉर्डर पर लगने वाले जाम से काफी हद तक निजात मिल चुकी है. हालांकि दिल्ली की ओर आली गांव की लालबत्ती दोनों तरफ की रफ्तार पर थोड़ा ब्रेक लगाती है.
पंडित जवाहरलाल नेहरू ने खास तौर से शरणार्थियों को बसाने के लिए इस शहर को प्राथमिकता दी और कई उद्योग स्थापित हुए जिससे यह हिरयाणा का पहला औद्योगिक शहर बना. छोटे-मझेले-बड़े को मिलाकर आज यहां करीब 1,500 उद्योग हैं. निवेश का माहौल पड़ोसी शहरों के मुकाबले यहां बेहतर है, लेकिन शहर के बीचोबीच स्थित हाइवे का महज चार लेन होना और ट्रैफिक का बढ़ता दबाव उद्योगों का रुझान कम करता है, हालांकि जल्द ही 6 लेन बनाने का काम शुरू होने वाला है और ईस्टर्न पेरीफेरल रोड चालू होने जा रहा है.
हरियाणा सरकार में श्रम मंत्री और फरीदाबाद निवासी पं. शिवचरण लाल शर्मा का आरोप है, ''पिछली सरकार ने गुड़गांव पर ज्यादा ध्यान नहीं दिया जिससे फरीदाबाद की स्थिति कमजोर हुई.'' लेकिन स्थानीय विधायक और प्रदेश भाजपा अध्यक्ष कृष्णपाल गुर्जर कहते हैं कि कनेक्टिविटी की ओर किसी सरकार ने ध्यान नहीं दिया.
वे कहते हैं, ''भौगोलिक दृष्टि से फरीदाबाद बिल्कुल मध्य में है और यहां विकास की अपार संभावनाएं हैं. सरकार इच्छाशक्ति दिखाए तो यह शहर नंबर वन बन सकता है.''
पार्षद बैंसला कहते हैं, ''विकास हो रहा है, लेकिन पुख्ता योजना के अभाव में समस्याएं बढ़ी हैं.'' वैसे, पिछले साल निगम कमिश्नर डी. सुरेश ने पार्षदों के लिए पहली बार दो करोड़ रु. की विकास निधि का प्रावधान किया, जिससे कॉलोनियों में विकास हो रहा है.
श्रमिकों की कमी, लालफीताशाही की वजह से बंद हो रहे उद्योग-धंधे और निगम के पास फंड का अभाव यहां के विकास में रोड़े अटका रहा है. कई उद्योग बंद हो चुके हैं. अवैध कॉलोनी विकास में बाधक बन रही हैं. रिहाइशी इलाकों में हुडा अथॉरिटी ने सड़क बनाने के लिए साइन-बोर्ड लगा दिए हैं, लेकिन मुश्किल यह है कि जिन किसानों ने बिल्डरों को अपनी जमीन डेढ़ से तीन करोड़ रु. प्रति एकड़ की दर से बेची है, सरकार वही जमीन सड़कों के लिए महज 16 से 24 लाख रु. प्रति एकड़ की दर से अधिग्रहीत करना चाहती है.
यह शहर भले नजरअंदाज किया जाता रहा हो, लेकिन इसकी भौगोलिक स्थिति निवेशकों का ध्यान खींचती रही है. निश्चित तौर पर 2015 तक मेट्रो का बदरपुर से फरीदाबाद तक पहुंचना, यमुना एक्सप्रेस-वे से जुड़ना, हाइवे का 6 लेन होना और नए रिहाइशी इलाकों में कनेक्टिविटी इस शहर की तकदीर और तस्वीर को बदलेगी.
खूबियां और खामियां
ताकतः दिल्ली, नोएडा और गुड़गांव के मध्य की भौगोलिक स्थिति इसकी सबसे बड़ी ताकत है. पड़ोसी शहरों के मुकाबले सस्ती कीमत पर जमीन.
कमजोरीः लालफीताशाही की वजह से उद्योग-व्यापार पर असर. सुनियोजित योजना का अभाव. अक्सर ट्रैफिक जाम, अवैध कॉलोनी, बिजली की कमी.
संभावनाएं: मेट्रो रेल, 6 लेन के हाइवे पर काम शुरू होने वाला है. ईस्टर्न पेरीफेरल रोड, फरीदाबाद-सोहना रोड बस चालू को.
कुछ अच्छी बातें: जवाहरलाल नेहरू शहरी नवीनीकरण मिशन के तहत सीवेज की लाइन और सोलर प्लांट बने. करीब 2,900 मकान बनाए गए.
कुछ बुरी बातें: योजना बनाकर काम शुरु, लेकिन फंड के अभाव में काम लटकने से आम लोग परेशान.
और भी… http://aajtak.intoday.in/story.php/content/view/689759/66
Faridabad
Waiting in the wings
Geetu Vaid
It takes no rocket science to say that the Delhi-NCR region is a realty goldmine. While it is the ultimate dream of a home buyer to own a house in almost any area in the region, for builders and investors it is a move that will hardly go wrong as far as pocketing hefty returns is concerned. While the realty market in other parts of the country may blow hot and cold, NCR's gold rush continues unabated. Some pockets do witness a temporary correction, but a substantial fall in property prices is unheard of here. So golden babies like Gurgaon, Noida, Noida Extension and Greater Noida, and the extended family of Sonepat, Panipat, Kundli are all buzzing with construction activity with new projects being launched on regular intervals.
Lull in NCR backyard
In such a scenario it comes as a surprise to see Faridabad still struggling to find feet in the "golden" region. Faridabad is among the largest cities of Haryana and also a major industrial hub that sits at a distance of 25 km from Delhi and has locational advantage to be seen as prime property. But still it has not grown as Noida and Gurgaon in terms of the lifestyle and living conditions that it offers. This has made a major dent in its realty fortunes of late.
Though there is no dearth of projects launched here by big names in the industry and of several infrastructure-boosting projects, yet the city has, by and large, failed to put its 'Delhi's poor cousin' image behind, opine property consultants operating here. Rakesh Bharadwaj, owner of property portal zameen zaidad.com says the realty market has been stagnating in Faridabad for the past six months. "The area has not come up like the rest of NCR region mainly because of connectivity issues. Earlier, there was much stress on industry but of late no new industry has come up here as most of the industry is moving to Manesar which offers a lot of tax sops. Faridabad doesn't figure in the seven manufacturing zones of the state. These factors have put breaks on the realty boom here".
A strong industry base always promotes the growth of realty sector in a region but lack of infrastructure and power shortage are some of the key irritants for industries in Faridabad. The Faridabad Industries Association(FIA) had recently put up a case to the state government to invest a part of the revenue generated by the industries in Faridabad in improving the infrastructure of the city by laying sewerage, new roads and providing streetlights etc. The local industries contribute about Rs 15,000 crore as sales tax to the state exchequer each year and the FIA had demanded almost Rs 65 crore for infrastructure boost.
As per the NHB's Residex index for the July-September quarter also the residential housing prices in Faridabad have declined by 6 per cent in this quarter. As per Bharadwaj investors are very cautious in investing here in spite of several good projects by major builders like Omaxe, BPTP, Ansal Buildtech, Uppals etc. "While we get about 50 calls on an average each day about properties in Noida and Gurgaon and also about Kundli and Sonepat, there are not even five calls about Faridabad which shows investors' disinterest. Many investors like Delhi-based Ravi Goyal who had booked flats in Faridabad projects, are full of trepidation as the returns are not to their expectations. When Goyal bought an apartment in an up market project in the Neharpar area, he considered it to be a good investment, but three years down the line he is apprehensive about his decision. While on the one hand the development has been slow, on the other the project has been delayed by the builder. "I was getting offers for resale till a few months back but right now there are none", he says while adding that even the HDFC bank had stopped further funding for the project.
Future perfect
So, is it all gloom on realty turf in Faridabad? The scenario is not as grim if one takes into account the projects that will give a boost to the infrastructure in the city. Faridabad recently got Rs 2,500 crore from the government under the Jawaharlal Nehru National Urban Renewal Mission (JNNURM). So this is likely to give a boost to infrastructural development in the city. The Badarpur flyover, which opened last year in November, has eased the traffic bottlenecks to some extent reducing the communting time from Delhi. And the third phase of Metro network that has recently been cleared with the extension of Badarpur corridor to YWCA Chowk getting a green signal by EGoM will improve connectivity with Delhi manifold.
The conversion of NH-2 (Delhi-Agra highway) which passes through Faridabad into a six-lane expressway and the conversion of Gurgaon-Faridabad road into a four-lane expressway are some of the steps that are likely to tackle the connectivity issues. The proposed FNG expressway will improve connectivity with Noida and Greater Noida, and KMP expressway passing through Palwal will improve connectivity with Gurgaon and other towns in Haryana and Rajasthan.
However, developers like BPTP are upbeat about the area. The group was among the first major groups to make substantial investments in this area in anticipation of its "golden" growth, it has almost 16 current residential and commercial projects here. BPTP Parklands project on Delhi Agra highway, which is spread over 1,700 acres will have residential and commercial spaces, IT parks and ITSEZs along with schools, hospitals, clubs etc.
"Faridabad is the city of future and these ups and downs in prices should not be taken seriously. The urban landscape is seeing transformation with many high-rise building coming up here. The real estate scenario remains highly attractive with premium on projects set to rise substantially. The city's vicinity to Delhi makes it as viable as its sister cities like Noida, Greater Noida and Ghaziabad" says Omaxe spokesperson. The group has six projects in the city with most being in Greater Faridabad (Neharpar area), a region that is seeing maximum real estate development. The group has already started possession for two-bedroom units at Omaxe Heights project.
The Neharpar area was incorporated into the new masterplan around six years back and is a cluster of over 20 sectors spread over roughly 3,000 acres. BPTP, Omaxe, SRS, Vipul Group, Piyush Group, Puri constructions, RPS etc have affordable category as well as premium residential projects here. The area already boasts of broad roads, shopping malls educational institutions etc and is a preferred location for investors because of its proximity to Delhi and Noida.
The advantage of buying a home or investing in Faridabad is that the prices are in the affordable range here still. Residential plots are available in the range of Rs 10,000 and 15,000 per sq yd and flats are available in a price range of Rs 1,800 to 2,000 per sq ft. in most of the projects. Ansal Buildwell has a project in Sector 80 offering 2, 3 and 4 bhk apartments and pent house with the starting price band of Rs 29 lakh.
However, the city also has a lot to offer to the HNIs and those looking for luxury projects. Omaxe's Forest Spa project in Surajkund which is a luxury project having ultra luxury apartments and penthouses is in the price band of Rs 6,500 per sq ft.
Faridabad has close to a dozen malls with Ansal Plaza, Crown Interiorz, SRS, Pristine etc getting good response from international retail chains. The presence of all these malls bodes well for the quality of lifestyle that this city will offer to those who decide to set up home here.
The Taj Group's 5 lakh sq ft five star property presenting a unique business model is another flagship project that the area has to boast about while promoting a high lifestyle.
It will provide a complete package to the business community in particular, the property will have a three-floor business tower having retail outlets and swank office space.
Thus in spite of doubts about delivery time, infrastructure once all the systems are in place five years down the line Faridabad will be a prized possession.
http://www.tribuneindia.com/2011/20111126/real.htm#1
फरीदाबाद के लिए नहीं जाना पड़ेगा नोएडा
नोएडा। ग्रेटर नोएडा और गाजियाबाद के लोगों को फरीदाबाद जाने के लिए नोएडा के जाम में नहीं फंसना पड़ेगा। इसके लिए एनएच-24 से सेक्टर 168 तक हिंडन व यमुना नदी के पुश्ते के किनारे नई सड़क बनाई जा रही है। तीन चरणों में हो रहा इसका निर्माण कार्य अगले एक साल में पूरा कर लिया जाएगा। इस सड़क के बीच में पड़ रहे नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेस-वे के ऊपर एक फ्लाईओवर भी बनाया जाएगा।
ताकि पूरी सड़क पर ट्रैफिक सिग्नल फ्री रहे। यमुना एक्सप्रेस के रास्ते आगरा जाने वाले मेरठ और गाजियाबाद दिशा के राहगीरों को भी इस रास्ते का लाभ मिलेगा। गाजियाबाद में एनएच-24 के पास छिजारसी से ग्रेटर नोएडा के गांव कुलेसरा के पुश्ते के सहारे 70 मीटर चौड़ी सड़क का निर्माण हो रहा है। यहां से यह सड़क 141 सेक्टर होते हुए एक्सप्रेस-वे से जुड़ेगी। एक्सप्रेस-वे के दूसरी ओर यह सड़क सेक्टर 168 में यमुना के किनारे तक जाएगी।
एक्सप्रेस-वे पर छपरौली गांव के सामने एक फ्लाईओवर बनेगा। जो इस सड़क के लिंक का काम तो करेगा ही। दोनों ओर की सड़क के वाहन एक्सप्रेस-वे पर भी उतर सकेंगे। इस संबंध में नोएडा के चीफ प्रोजेक्ट इंजीनियर संतराम सिंह ने बताया कि योजना के मुताबिक सेक्टर 168 के सामने यमुना पर छह लेन का पुल बनाया जाएगा। जिससे तीनों शहरों की नई कनेक्टिविटी बन सके। तब गाजियाबाद, मेरठ, ग्रेनो और आगरा की दिशा से आने वाले वाहनों को फरीदाबाद जाने के लिए कालिंदीकुंज नहीं जाना पड़ेगा। फिलहाल इन शहरों के लोगों को महामाया फ्लाईओवर और कालिंदीकुंज के जाम से जूझना पड़ता है।
सीपीई ने बताया कि सड़क का काम तो साल भर में पूरा हो जाएगा। फ्लाईओवर के डिजाइन और डीपीआर के लिए कंसलटेंट की तलाश है। बिड जारी हो चुकी हैं। उम्मीद है आठ दिसंबर तक कंसलटेंट नियुक्त हो जाए। नोएडा के इन सेक्टरों के लोगों को मिलेगा लाभनई लिंक रोड के किनारे बसे सेक्टरों 63, 62, 50, 51, 88, फेस टू, 139, 139 ए, 139 बी, 140, 140 ए, 141, 142, 143 के निवासियों और उद्यमियों को नई कलेक्टिविटी का लाभ मिलेगा। यहां के निवासियों को गाजियाबाद, ग्रेनो, मेरठ और आगरा जाने के लिए नया विकल्प मिल जाएगा।
खादर के गांवों को मिलेगी नई पहचानएक्सप्रेस वे और यमुना के बीच बसे अधिकांश गांव कनेक्टिविटी के अभाव में शहरों से कटे हुए हैं। इस सड़क के बन जाने से सेक्टर 167, 167ए, 168 और 168 ए के आसपास के करीब एक दर्जन गांवों को नई कनेक्टिविटी मिल जाएगी। क्या है परियोजनागाजियाबाद, गुड़गांव और फरीदाबाद के भारी यातायात को दिल्ली में प्रवेश करने के रोकने के लिए वर्ष 1993 में एनसीआर प्लानिंग बोर्ड की संस्तुति पर एफएनजी परियोजना आई। छह लेन के एक्सप्रेस-वे को कॉमनवेल्थ गेम्स से पहले पूरा करना था। कुछ दिन बाद ही एनसीआर प्लानिंग बोर्ड ने ईस्टर्न पेरीफेरल प्रोजेक्ट को मंजूरी दे दी।
जिससे एफएनजी की प्रासंगिकता पर सवाल खड़े हो गए।क्यों फिर से शुरू हुई योजनाकिसानों के विरोध और हरियाणा सरकार द्वारा रूचि नहीं लेने पर पिछले साल बंद कर दी गई एफएनजी (फरीदाबाद-नोएडा-गाजियाबाद) योजना पर नोएडा अथॉरिटी ने अपने हिस्से का काम फिर से शुरू कर दिया है। दरअसल नोएडा के रियल एस्टेट प्रोजेक्ट्स के लिए यह योजना बड़े मायने रखती है। दूसरे यमुना एक्सप्रेस-वे को नोएडा के बाहर से गाजियाबाद और मेरठ को कनेक्टिविटी भी इसी लिंक रोड से मिलेगी। इसके अलावा फरीदाबाद प्रशासन ने भी यमुना पर पुल बनाने के प्रस्ताव पर सकारात्मक सहयोग की हामी भरी है। अथॉरिटी और फरीदाबाद प्रशासन के बीच दो बार हो चुकी बैठकों के बाद फिर से छपरौली के सामने यमुना का पुल बनने की आस जगी है।
Faridabad- In the fast lane
Charandeep Singh
Faridabad, a city that was once considered a cesspool of industrial filth and pollutants, has now turned into a choice destination for home seekers, builders and investors. Year 2007 saw a sudden upsurge in property prices in the entire NCR and as prices skyrocketed all over, the only place that provided affordable housing was Faridabad. The scene changed in 2008 when builders like BPTP, Omaxe etc. launched their projects extensively, especially in the Neharpar region of the city. As the dynamics of the real estate market in the NCR shifted and it became a buyer's market from being a seller's market, builders, too, shifted focus on low-budget affordable quality homes.
Winds of growth
Faridabad is about 25 km from Delhi and has emerged as the best destination for real estate investment in the NCR. "It's not too far from the commercial hub of south Delhi. Hence, connectivity is not an issue. Secondly, the property prices on this side of south Delhi are quite low as compared to those in Gurgaon and Noida. As a matter of fact, Faridabad is quite affordable", says Rakesh Gupta, who owns an up-market villa in Faridabad. "Another factor that has increased the realty potential of the city is the Faridabad-Ballabgarh-Palwal industrial complex", says Manjit Singh of Mech-Tech Forgings, who is an office-bearer of the Faridabad Industries Association.
The Neharpar area of Faridabad can be compared to Gurgaon and Noida as far as development is concerned but still property prices are much less here.
The main sore point of Faridabad was the congestion on the Badarpur border that made entry into Faridabad quite a pain. With Badarpur flyover nearing completion, access to the main city would be more comfortable and also the plan of Metro reaching there in Phase III will drive property to boomtown scene.
Another infrastructure development to have taken place in the vicinity is the Taj Expressway (near Sector 80), and a highway beginning from Kalindi Kunj and running parallel to Mathura Road that will bypass the city. It will be the ring road of Faridabad. "The upcoming metro connectivity from Badarpur to the YMCA Chowk, six-laning of NH-2, widening of the existing bypass starting from Badarpur parallel to Agra Canal and six-laning of the Faridabad-Gurgaon road are going to change the face of Faridabad in a major way. The proposed international airport at Jevar will bring Faridabad on the international circuit.
"When infrastructural development takes place, the real estate boom is bound to happen", adds Rakesh Gupta, MD of RPS Group, which is developing both residential and commercial properties in Faridabad. "Easy procurement as well as availability of land was the main reason for us to launch our projects in Faridabad. The infrastructural development that is taking place at a break-neck speed in the city has proved to be the icing on the cake", comments the spokesperson of Omaxe. The group is developing four properties in Faridabad.
HUDA, too, has started taking keen interest in the development of the city and has earmarked Sector-79 as the commercial district of the city.
Realtors and the pricing mix
There has been a massive spurt in property prices in the past two years with certain pickets having scaled up in the region of 100 per cent. In December 2009 one could get a property in Sector 16 to 21 at around Rs 23,000 per sq. yd, but today the same costs around Rs 38,000 per sq. yd.
New development is taking place all around Sector-80, in the Neharpar region, now re-christened as 'Greater Faridabad'. "The prices of plots, which are mostly available in re-sale, in Neharpar sectors are between Rs 9,000 and 12,000 per sq yd.
For flats the prices are in the range of Rs 1,800 per sq ft. One of the best options for the area is the independent floors in various projects. The BPTP group has already announced a project offering independent floors. The rate of Puri Constructions' independent floors for an area of 300 sq yard is around Rs 27 lakh. Ansal Buildwell Ltd. and Crown Group have also launched New Faridabad's first luxurious, planned and integrated high rise apartments 'Ansal Crown Heights' situated at Sector 80, spread across 18 acres, adjacent to commercial hub of Faridabad Sector 15A, 15 and 14. "The project will include two bedroom, three bedroom, four bedroom apartments and four-bedroom duplex pent houses, with the price range of Rs 29 lakh to 1.80 crore", says Ranjeev Kalia, Head Marketing, Ansal Buildwell Ltd. "I believe many more such options will come up in the future in this area," says Rannvir Singh, of Shekhawat Estates.
Commercial & rental high
HSIDC's planned industrial hub is going to jack up the rates further. The main commercial area is Sector 15-16, where 2,500 sq. ft of office space fetches you a rent of Rs 1 lakh a month. "Our project Savana is the largest single licensed Group Housing Project having over 2,300 dwelling units in Sector-88, Greater Faridabad", says Rakesh Gupta of RPS.
Echoing similar sentiments Amit Raj Jain, Vice-President (Marketing), BPTP Limited, says, "Our budget housing projects are priced between Rs 20 and Rs 25 lakh and we have kept our profit margins at the bare minimum making these projects affordable. We are receiving excellent response from buyers. Our recently launched projects like Park Floors I and II at our 1,500-acre township BPTP Parkland have got very good response from buyers".
Rentals in the residential segment are also quite affordable. "I came from Chandigarh and got a decent two-bedroom apartment in Sector 15 at Rs 11,000 a month, which I suppose is quite reasonable", says Sajdeep Handa, location head of a life insurance company. Most of the builders are developing their properties at a fast pace in Faridabad. Omaxe is having four projects, KLJ Greens in Sector 77 with a base price of Rs 24 lakh, Uppal's Jade with a starting price of Rs 12.5 lakh, and Puri Developers is developing 'The Pranayam' in over 20 acres.
"For investors Faridabad is a good long-term investment as prices will appreciate significantly once all the ongoing infrastructural projects are completed. For end users, the prices are in the affordable range as of now and once the development in and around the area takes place, these will definitely shoot up", says Rannvir Singh.
Update 11 Feb 2011
मुआवजे के लिए आवेदन कर रहे किसान
फरीदाबाद, जासंकें : मुआवजे को कम बताकर विरोध करने वाले नहरपार के किसानों ने गुपचुप तरीके से मुआवजा लेने के लिए आवेदन देना शुरू कर दिया है। इससे ग्रेटर फरीदाबाद में रुका हुआ विकास शुरू होने की संभावना बनने लगी है। सेक्टर 76, 77 व 78 के लिए किसानों को 42 लाख रुपये प्रति एकड़ मुआवजा दिया जा रहा है। अधिकारियों को उम्मीद है कि धीरे-धीरे सभी किसान विरोध को समाप्त कर मुआवजे के लिए आवेदन करने आएंगे। हाल ही में हुडा ने इन तीन सेक्टरों के लिए 42 लाख रुपये प्रति एकड़ का मुआवजा घोषित किया था। यह मुआवजा ब्याज सहित करीब 69 लाख 59 हजार रुपये तक होगा। इसके अंतर्गत कुल पांच गांव- भतौला, मुर्तजापुर, फज्जूपुर, नीमका व फरीदपुर की 517 एकड़ भूमि अधिग्रहीत की जानी है। मुआवजा घोषित होने के समय किसानों ने विरोध किया था। किसानों ने मुआवजे की राशि को कम बताया था। अब किसानों का रोष शांत होता नजर आ रहा है। हुडा अधिकारियों ने बताया कि मुआवजे के लिए आधा दर्जन आवेदन आ चुके हैं। रोजाना एक से दो लोग आवेदन जमा करने के लिए हुडा कार्यालय पहुंच रहे हैं।
http://in.jagran.yahoo.com/epaper/index.php?location=53&edition=2011-02-11&pageno=17
New Faridabad Is Developing Fast
4 Feb 2011
The industrial hub of Faridabad, 25km from the national capital, has gained prominence on the NCR's real estate radar. Matching steps with Gurgaon and Greater Noida, Faridabad is adding to its value by developing fast. The city is set to attract more buyers, investors and developers again, riding on easy connectivity that the new Badarpur flyover will give – after it is commissioned, the huge traffic jams here will become a thing of the past. Developers like Avneesh Sood, director of the Eros Group, says: "Naharpar and Sectors 75 onwards, the area opposite the Agra Canal, will be valuable for real estate development. Though infrastructure in this area is not in place right now, it holds a lot of promise because of the presence of prominent developers. Among the sectors that have greater potential are Sectors 88 and 89, which are in demand as they will be close to the two highways under construction."
The infrastructure which will aid the development of Faridabad include the Taj Expressway (near Sector 80) and a highway starting from Kalindi Kunj and running parallel to Mathura Road, which will bypass the city. Sector 75 near the Agra Canal is going to be the next commercial hub in Faridabad. Officials say that they are simultaneously greening the place.
Ansal Buildwell Ltd and Crown Group have launched New Faridabad's first luxurious, planned and integrated highrise apartments, the Ansal Crown Heights, in Sector 80. The project is over 18 acres of land, adjacent to the commercial hubs of Faridabad, Sectors 15A, 15 & 14. Ansal Crown Heights comprises 10 towers, each between 12 and 19 floors, out of which eight towers will be canal facing. The project will include 2, 3 and 4BHK apartments and four-bedroom duplex penthouses, with the price range from Rs 29 lakh to Rs 1.80 crore.
Ranjeev Kalia, the marketing head (Faridabad project) at Ansal Buildwell Ltd, says: "Once Badarpur flyover is constructed, the access will be more comfortable and it will bring back the boom in property. Also, the freight corridor in the vicinity which has Faridabad as part of its catchment, and a planned HSIDC (Haryana State Industrial development Corporation) commercial hub near Faridabad, will all further add up to the importance of the place in realty terms. While several shopping malls are under construction, Faridabad is likely to have more than 40 such spots over the next few years."
Sood of Eros Group says: "These changes can be seen in terms of floating of new sectors with a public and private sector partnership; setting up new institutional sectors; witnessing changes in the skyline by developing a new urban development policy, adding new high-tech electronic and communication units and IT parks; and better road and transport facilities."
The industrial city with about 300 large and 10,000 small-scale industries under its belt has always been under-priced. But now the situation is changing. It not only has swanky residential properties but a lot of commercial projects have developed too, while some are under construction. The initiative of the Haryana government is also one of the prime factors behind spatial economic developmental changes here.
Property and real estate prices in Faridabad are already shooting up. Despite the doubts about the delivery time infrastructure and time of completion, once these are in place in another five years or so, any property in Greater Faridabad will be a prized possession.
Source: New Faridabad Is Developing Fast